EVM का मंदिर बने और एक तरफ पीएम मोदी और दूसरी तरफ अमित शाह की मूर्तियां होनी चाहिए: संजय राउत

मुंबई
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में भाजपा के नेतृत्व वाले महायुति गठबंधन को प्रचंड बहुमत मिलने के बाद सियासी दल बौखलाए हुए हैं। विपक्ष एमवीए की हार का ठीकरा ईवीएम पर फोड़ रहा है। इसी बीच उद्धव ठाकरे की शिवसेना के नेता संजय राउत ने महायुति और केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोला है। उनका कहना है कि ईवीएम का एक मंदिर बनना चाहिए और एक तरफ पीएम मोदी और दूसरी तरफ अमित शाह की मूर्तियां होनी चाहिए।  

यह ईवीएम का कमाल
संजय राउत ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, ''महाराष्ट्र में महायुति की जीत के बाद से सरकार के सभी फैसले राज्य के बजाय दिल्ली में लिए जाएंगे।'' राउत ने एक बार फिर ईवीएम पर संदेह जताते हुए दावा किया कि गठबंधन ''ईवीएम के कमाल'' की वजह से खुश है। उन्होंने कहा, ''आजकल उनके चेहरों पर काफी खुशी है, लोकसभा चुनाव के बाद उनके चेहरों की चमक गायब हो गई थी, जो अब लौट आई है, यह ईवीएम का कमाल है। ईवीएम का एक मंदिर बनना चाहिए, इसमें तीन मूर्ति होनी चाहिए। एक तरफ पीएम और दूसरी तरफ अमित शाह और बीच में ईवीएम।''

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महाराष्ट्र के फैसले दिल्ली में लिए जाएंगे- राउत
राउत ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, "गर्व, जो अब नहीं रहा। एकनाथ शिंदे और अजित पवार को अपने मुद्दे रखने के लिए बार-बार दिल्ली आना पड़ेगा। भले ही वे अलग-अलग पार्टियों से हैं, लेकिन उनका हाईकमान दिल्ली में है, मोदी और शाह उनके हाईकमान हैं।" उन्हें (एकनाथ शिंदे और अजित पवार) महाराष्ट्र में जो कुछ भी करवाना है, उसे दिल्ली से मंजूरी लेनी होगी, कल भी वे (दिल्ली में) मिले थे। तो अब महाराष्ट्र में बैठक कर वे क्या करेंगे? इसलिए मोदी और शाह जो भी आदेश दे रहे हैं, उन्हें सुनना होगा।"

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आत्मसम्मान जैसी कोई चीज नहीं बची
उन्होंने आगे देवेंद्र फडणवीस पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा नेताओं की राजनीतिक यात्रा काफी घटनापूर्ण रही है, क्योंकि वे मुख्यमंत्री से उपमुख्यमंत्री (डीसीएम) तक बदलते रहे हैं। "पहले भी देवेंद्र फडणवीस सीएम थे, वे डीसीएम बन गए, एकनाथ शिंदे उनसे काफी जूनियर थे। एकनाथ शिंदे ने फडणवीस के मंत्रिमंडल में भी काम किया है, अचानक फडणवीस शिंदे के मंत्रिमंडल में काम करने लगे। महाराष्ट्र में जिस तरह की राजनीति हो रही है, उसमें अब आत्मसम्मान जैसी कोई चीज नहीं बची है।''

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