अपने गैजट्स में जोड़िए फंक्शन, बनाइए बेहतर

आप अपने पास मौजूद कई गैजट्स (स्मार्टफोन, टैबलट, वाई-फाई राउटर, कैमरे) में ऐसे फीचर्स जोड़ सकते हैं, जिनकी सुविधा कंपनी ने नहीं दी है। इसके लिए बस आपको थोड़ा सा दिमाग लगाने की जरूरत होती है। बाकी हितेश राज भगत और करण बजाज बता देते हैं कि इसे आप कैसे कर सकते हैं, आगे क्लिक करते जाइए और जानिए…

आपका मल्टिफंक्शनल स्मार्टफोन:- क्या आपके लैपटॉप में वेबकैम नहीं है? तो आपको फिक्र करने की कोई जरूरत नहीं है। फ्री ऐंड्रॉयड ऐप ड्रॉइडकैम के जरिए आप फोन के कैमरे और माइक्रोफोन का इस्तेमाल कर स्काइप, गूगल हैंगआउट और बाकी प्लैटफॉर्म पर दोस्तों से बात कर सकते हैं। इसके लिए फ्री ऐप और फ्री विंडोज, लाइनक्स सर्वर सॉफ्टवेयर चाहिए। इसके बारे में आपको विस्तार से जानकारी ‘डब्लूडब्लूडब्लू डॉट डीईवी7एप्पस डॉट कॉम’ पर मिल सकती है।

वाई-फाई रेंज दुगनी-तिगुनी करिए:- वाई-फाई एक अजीब साइंस है। आप ठीक-ठीक नहीं पता लगा सकते कि आपका वाई-फाई कहीं पर क्यों कमजोर होता है, लेकिन आप कुछ गाइडलाइंस के मुताबिक काम करके वाई-फाई की रेंज बढ़ा सकते हैं। बेहतर कवरेज के लिए राउटर को घर के बीचो-बीच रखिए और इसे 6 फीट या इससे ज्यादा की ऊंचाई पर रखिए। ऐसा इस वजह से क्योंकि वाई-फाई सिग्नल ओमनी-डायरेक्शनल होते हैं और वे ऊपर जाने की जगह नीचे की तरफ आते हैं। अगर आपके पास दो ऐंटेना वाला राउटर है, तो एक को वर्टिकल रखिए, दूसरे को हॉरिजनटल।

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अगर आप ये न कर सकें या इन तरीकों से फायदा न हो, तो रेंज बढ़ाने के लिए पुराने राउटर्स को वाई-फाई सिग्नल रिपीटर्स के तौर पर इस्तेमाल कर सकते हैं या आप किसी इलेक्ट्रिकल आउटलेट में सीधे लगाने के लिए डीलिंक और नेटगियर जैसे ब्रैंड्स के छोटे रिपीटर्स (कीमत करीब 1500 रुपए) खरीद सकते हैं। रिपीटर अपने नेटवर्क की सीमा पर लगाएं, जिससे वह वहां से सिग्नल को आगे भेज सके। इसे लगाना बहुत आसान होता है। इसमें रिपीटर मोड चुनिए, अपने वाई-फाई नाम और पासवर्ड को डालिए, बस हो गया। आप दुगना या तिगुना या आउटडोर तक सिग्नल पहुंचाने के लिए और रिपीटर्स का इस्तेमाल कर सकते हैं।

अपने कैमरे की क्षमता बढ़ाइए:- किसी कैमरे से आरएडब्लू फॉर्मैट की इमेज उस तस्वीर का डिजिटल नेगेटिव होता है। सही सॉफ्टवेयर की मदद से आप आरएडब्लू इमेज को बेहतर प्रोसेस कर सकते हैं, ताकि आपको अच्छी तस्वीर मिल सके। आम तौर पर डीएसएलआर कैमरों में आरएडब्लू का ऑप्शन होता है। कई मिड-रेंज और एंट्री लेवल कैमरों में यह नहीं होता, जबकि कई बार उनका हार्डवेयर इसे सपॉर्ट करता है। आप एक टेंपररी फर्मवेयर (एक तरह का सॉफ्टवेयर) की मदद से आप अपने कैमरे को ऐसा ऐसा बना सकते हैं कि वह आरएडब्लू इमेज ले सके और आपको कुछ अतिरिक्त सेटिंग्स दे सके। कैनन के कैमरे रखने वाले लोग ले सकते हैं। आप अपने कैमरा मॉडल को सर्च करिए और सही फर्मवेयर डाउनलोड कर लीजिए। इसमें स्टेप-बाई-स्टेप बताया गया है कि कैमरे में फर्मवेयर कैसे लोड करें। एक बार फर्मवेयर अपडेट होने के बाद आप आरएडब्लू ऑप्शन के अलावा कई और सेटिंग्स देख सकेंगे। यह ध्यान रखिएगा कि आरएडब्लू इमेज सेव करने में ज्यादा वक्त और ज्यादा जगह लगती है। कैनन डीएसएलआर यूजर मैजिक लैंटर्न नाम का फर्मवेयर ले सकते हैं। इससे वे अपने म्व्ै कैमरे में और फंक्शनैलिटी डाल सकते हैं। इससे लाइव हिस्टोग्राम, फोकस पीकिंग, स्पॉटमीटर, एचडीआर विडियो, अनकम्प्रेस्ड रॉ विडियो सपॉर्ट, मोशन डिटेक्शन जैसे कई फीचर मिलेंगे. सपोर्टेड डीएसएलआर कैमरों की लिस्ट के लिए डबलूडबलूडबलू डॉट मैजिकक्लैंटर्न डॉट एफएम पर जा सकते हैं।

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वायरलेस हार्ड ड्राइव और प्रिंटर:- वाई-फाई शेयर करने का शानदार जरिया है। लिहाजा आपके पास मौजूदा प्रिंटर (नॉन-वायरलेस) या एक्सटर्नल हार्ड ड्राइव है, तो आपको इन बिल्ट यूएसबी पोर्ट और प्रिंट सर्वर से लैस राउटर लेना चाहिए। मिसाल के तौर पर बेल्किन का प्लेमैक्स एन600 (8, 000 रुपए) वाई-फाई एन सर्टिफाइड राउटर है और ड्यूल यूएसबी पोर्ट भी है। साथ ही, इसे परंपरागत वायरलेस राउटर की तरह भी इस्तेमाल किया जा सकता है। आप इसमें एक साथ यूएसबी हार्ड ड्राइवर और यूएसबी प्रिंटर कनेक्ट कर सकते हैं। इसका मतलब यह हुआ कि इस नेटवर्क पर कोई भी कंप्यूटर घर में किसी जगह से प्रिंट करने में सक्षम होगा। साथ ही, हार्ड ड्राइव में मौजूद कॉन्टेंट का भी ऐक्सेस मुमकिन होगा।

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टीवी का वायरलेस विडियो सिग्नल:- अगर आपको अपने स्टाइलिश एलईडी-एलसीडी टीवी के केबल के कारण आने वाली खड़खड़ाहट पसंद नहीं है, तो आप अपने टीवी को वायरलेस बना सकते हैं। आपको अपनी मौजूदा डिवाइसेज (मसलन केबल सेट टॉप बॉक्स, डीवीडी प्लेयर और गेम कंसोल) के लिए वायरलेस एडीएमआई अडॉप्टर खरीदना होगा। इसके बाद टीवी के एचडीएमआई पोर्ट में रिसीवर और बाकी डिवाइस में ट्रांसमीटर लगाना होगा। वायरलेस एवी ट्रांसमीटर और रिसीवर की कॉस्ट 4, 000 लेकर 65, 000 रुपए तक बैठती है। कॉन्टेंट (फोटो, म्यूजिक, विडियो) की स्ट्रीमिंग के लिए मौजूदा वाई-फाई कनेक्शन का इस्तेमाल करते हुए स्मार्टफोन या टैबलट जैसी डिवाइस से टीवी को जोड़ने के लिए डीएलएनए टेक्नॉलजी का इस्तेमाल किया जा सकता है।

आईपैड को बनाइए दूसरा डिस्प्ले:- आईपैड का डिस्प्ले काफी शानदार है। चाहे आप आईपैड 2 इस्तेमाल करें या फस्र्ट जेनरेशन आईपैड मिनी, डिस्प्ले की क्वॉलिटी काफी बेहतरीन है। इस वजह से आपको इसे अपने कंप्यूटर के लिए दूसरे डिस्प्ले की तरह इस्तेमाल करना चाहिए। यह ट्रिक विंडोज और मैक दोनों पर काम करती है। इसके लिए सबसे पहले यह पक्का करें कि कंप्यूटर और आईपैड दोनों एक ही वाई-फाई नेटवर्क से जुड़े हों। साथ ही, एयर डिस्प्ले 2 (9.99 डॉलर) या डिस्प्लेपैड (2.99 डॉलर) और कंप्यूटर के लिए संबंधित सर्वर ऐप लेना होगा। यह ऐप आपके आईपैड को वायरलेस सेकंड डिस्प्ले में बदल देगा, जो एक्सटेंडेड डिस्प्ले हो सकता है।

 

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