जयपुर।
सहकारिता राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री गौतम कुमार दक ने कहा कि जिन सहकारी समितियों में अनियमितता सबंधी प्रकरण सामने आए हैं और उनकी जांच सहकारी कानून के तहत धारा 55 या 57 के तहत करवायी जा रही है तो जांच को निर्धारित समय सीमा में पूर्ण किया जाए। इसमें किसी प्रकार की ढिलाई को बर्दाश्त नहीं किया जायेगा।
दक ने सोमवार को अपेक्स बैंक सभागार में मुख्यमंत्री कार्यालय एवं सहकारिता मंत्री कार्यालय से प्राप्त विभिन्न शिकायतों के प्रकरणों में विभाग स्तर से की गई कार्यवाही प्रगति की समीक्षा करते हुये कहा कि पत्रों में जो भी शिकायत के बिन्दु हैं, उन पर त्वरित कार्यवाही की जाए तथा लगातार फोलो-अप भी करें ताकि न्यायसंगत कार्यवाही हो सके एवं शिकायत के प्रकरणों में नियमानुसार समयबद्ध राहत को सुनिश्चित किया जा सके। उन्होंने कहा कि शिकायतों के निस्तारण में शिकायतकर्ता से भी संपर्क कर उसका पक्ष सुने एवं रिकार्ड से सत्यापन करके ही जांच रिपोर्ट दें। यदि किसी भी प्रकरण में जांच अधिकारी द्वारा फौरी तौर पर बिना रेकार्ड सत्यापित किये जांच रिपोर्ट दी गई है तो ऐसे अधिकारी के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाए। समीक्षा बैठक में सहकारिता विभाग की शासन सचिव एवं रजिस्ट्रार श्रीमती मंजू राजपाल ने निर्देश दिये कि प्रदेश में न्यूनतम समर्थन मूल्य पर मूंग, सोयाबीन एवं मूंगफली की खरीद की जा रही है। खरीद केन्द्रों पर खरीद की व्यवस्था को चाक-चौबंद करने के लिये प्रतिदिन जिले के इकाई उप-रजिस्ट्रार एवं जिला केन्द्रीय सहकारी बैंक के प्रबंध निदेशक विजिट करें और जो भी समस्या आ रही है, राजफैड के अधिकारियों के साथ सामंजस्य स्थापित कर उसका निराकरण सुनिश्चित करें। श्रीमती राजपाल ने कहा कि कार्मिकों की कार्यालयों में उपस्थिति को सुनिश्चित करने के लिये बायोमीट्रिक उपस्थिति मशीन स्थापित की जायेगी। इसकी शुरूआत सहकार भवन से होगी, उसके बाद इस प्रणाली को सहकारिता विभाग के प्रदेश के सभी कार्यालयों के लिये लागू किया जायेगा। उन्होंने कहा कि इससे आमजन को बार-बार सहकारी कार्यालयों में चक्कर नहीं लगाने पडेंगे और उनकी समस्याओं का शीघ्र निस्तारण संभव हो सकेगा।