नेशनल डेस्क, न्यूज राइटर, 11 जनवरी, 2024
नई दिल्ली। पूरा देश भगवान राम के रंग में रंगा हुआ है। 22 जनवरी को रामलला अपने भव्य मंदिर में विराजेंगे। प्राण प्रतिष्ठा समारोह के लिए विपक्षी पार्टियों से लेकर कई बड़ी हस्तियों को निमंत्रण भेजा गया है। इसी बीच कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और सोनिया गांधी ने प्राण प्रतिष्ठा समारोह में जाने से इंकार कर दिया है। इसके अलावा अधीर रंजन चौधरी भी इस समारोह में शामिल नहीं होंगे। कांग्रेस का कहना है कि यह समारोह आरएसएस और बीजेपी का है। चुनावी लाभ उठाने के लिए राम मंदिर का राजनीतिक उपयोग किया जा रहा है।
कांग्रेस का बयान
कांग्रेस महासचिव पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने एक बयान में यह भी कहा कि भगवान राम की पूजा-अर्चना करोड़ों भारतीय करते हैं तथा धर्म मनुष्य का व्यक्तिगत विषय है, लेकिन भाजपा और आरएसएस ने वर्षों से अयोध्या में राम मंदिर को एक ‘राजनीतिक परियोजना’ बना दिया है। आगामी 22 जनवरी को होने वाले प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के लिए कांग्रेस के तीन प्रमुख नेताओं खरगे, सोनिया और चौधरी को निमंत्रित किया गया था।
रमेश ने कहा, ‘‘पिछले महीने, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी एवं लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन चौधरी को अयोध्या में राम मंदिर के उद्घाटन का निमंत्रण मिला।” उन्होंने दावा किया, ‘‘भगवान राम की पूजा-अर्चना करोड़ों भारतीय करते हैं। धर्म मनुष्य का व्यक्तिगत विषय होता आया है, लेकिन भाजपा और आरएसएस ने वर्षों से अयोध्या में राम मंदिर को एक राजनीतिक परियोजना बना दिया है।” कांग्रेस महासचिव ने आरोप लगाया कि एक ‘अर्द्धनिर्मित मंदिर’ का उद्घाटन केवल चुनावी लाभ उठाने के लिए ही किया जा रहा है।
निमंत्रण को ससम्मान अस्वीकार करते हैं
रमेश ने कहा, ‘‘2019 के माननीय उच्चतम न्यायालय के निर्णय को स्वीकार करते हुए एवं लोगों की आस्था के सम्मान में मल्लिकार्जुन खरगे, सोनिया गांधी एवं अधीर रंजन चौधरी भाजपा और आरएसएस के इस आयोजन के निमंत्रण को ससम्मान अस्वीकार करते हैं।” उच्चतम न्यायालय ने 2019 में एक ऐतिहासिक फैसले में अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण का मार्ग प्रशस्त किया था और हिंदुओं द्वारा पवित्र माने जाने वाले शहर में एक मस्जिद के निर्माण के लिए पांच एकड़ का वैकल्पिक भूखंड मुहैया कराने का आदेश दिया था। इसके परिणामस्वरूप, अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण का काम शुरू हुआ। आगामी 22 जनवरी को ‘प्राण प्रतिष्ठा’ समारोह होगा, जिसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भी मौजूद रहेंगे।