भोपाल
दिल्ली के लालकिला मेट्रो स्टेशन के पास सोमवार शाम को चलती कार में हुए धमाके में नौ लोगों की मौत हो गई। इस घटना के बाद मध्य प्रदेश में हाई अलर्ट जारी किया गया। दिल्ली पुलिस ने इससे पहले 8 सितंबर को ब्यावरा (राजगढ़) से कामरान और 16 अक्टूबर 2025 को भोपाल से पकड़ा था।
सीरिया से मिला था ब्लास्ट का आदेश
भोपाल के निशातपुरा इलाके से 20 साल के अदनान को संदिग्ध आतंकी गतिविधियों के चलते गिरफ्तार किया गया। वह सीरिया में बैठे ISIS कमांडर के सीधे संपर्क में था और वहीं से उसे दिल्ली में धमाका करने का संदेश मिला।
अदनान इंडस रीजेंसी कॉलोनी, मकान नंबर ए-46 में रहता है। उसके पिता गुलफाम, एक प्रतिष्ठित कंपनी में अकाउंटेंट हैं। अदनान ने 12वीं में 97% अंक हासिल किए थे, इसलिए पिता ने उसे सीए की तैयारी कराई।
पड़ोसियों के अनुसार अदनान फिटनेस पर ध्यान देता था और ज्यादातर समय अपने कमरे में बिताता था। उसने डार्क एप्स, टेलीग्राम और IMO के जरिए सीरिया में बैठे ISIS कमांडर के कहने पर धमाका करने की तैयारी शुरू की।
अदनान ने अपने एक साथी के साथ मिलकर हथियार जुटाए और धार्मिक कट्टरपंथ से जुड़ी पोस्ट सोशल मीडिया पर साझा की। पुलिस ने उनके मोबाइल फोन और लैपटॉप जब्त किए।
अदनान हक्कानी का अनुयायी
पूछताछ में अदनान ने कबूला कि वह रोज 8-10 घंटे तक लैपटॉप और फोन पर काम करता था। वह खुद को भारत के मोस्ट वांटेड आतंकी सिराजुद्दीन हक्कानी का अनुयायी मानता है।
लखनऊ FSL रिपोर्ट के अनुसार, अदनान ने यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ की फोटो पर उर्दू में 'काफिर' लिखी थी और 2024 में फिल्म “हमारे 12” के विरोध में पोस्ट साझा की थी। वह “खिलजी” नाम से इंस्टाग्राम चला रहा था।
आईएसआईएस हैंडलर अबू से संपर्क
दिल्ली की स्पेशल सेल ने 16 अक्टूबर को मोहम्मद अदनान उर्फ अबू मुहरिब नामक युवक को गिरफ्तार किया। पूछताछ में भोपाल के अदनान का नाम सामने आया। दोनों आईएसआईएस हैंडलर अबू इब्राहिम अल-कुरैशी से जुड़े थे।
अदनान को पुलिस ने उसके घर से धार्मिक किताबों और लैपटॉप के साथ गिरफ्तार किया। उसने इंस्टाग्राम पर फेक आईडी भी बनाई थी।
कामरान भी आईएसआईएस के लिए काम करता था
दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने राजगढ़ के ब्यावरा से इस्लामिक स्टेट्स ऑफ ईराक एंड सीरिया (ISIS) से जुड़े आतंकी को 8 सितंबर को गिरफ्तार किया। आतंकी का नाम कामरान कुरैशी बताया गया है।
IED बनाने में इस्तेमाल होने वाला सामान बरामद
दिल्ली दिल्ली पुलिस ने कामरान की गिरफ्तारी के बाद बताया था कि अशरफ दानिश भारत से टेरर मॉड्यूल को ऑपरेट कर रहा था। रांची में उसके ठिकाने से एक देसी पिस्टल, कारतूस, हाइड्रोक्लोरिक एसिड, नाइट्रिक एसिड, सल्फर पाउडर जैसे रसायन, कॉपर शीट, बॉल बेयरिंग, स्ट्रिप वायर, इलेक्ट्रॉनिक सर्किट, लैपटॉप, मोबाइल फोन और कैश मिला। कामरान इसी के संपर्क में था और दिल्ली में धमाके की प्लानिंग में जुटा था।
सोशल मीडिया के जरिए युवाओं की भर्ती करते थे आरोपी
दिल्ली पुलिस ने बताया कि पकड़े गए संदिग्ध भारत में बड़े आतंकी हमले को अंजाम देने की फिराक में थे। वे सोशल मीडिया का इस्तेमाल भारत में युवाओं को कट्टरपंथी बनाने और उन्हें अपने नेटवर्क में भर्ती करने के लिए करते थे।
टेरर ग्रुप सांप्रदायिक नफरत फैलाने और धार्मिक सद्भाव को बिगाड़ने के मकसद से कई ऑनलाइन ग्रुप भी चलाता था। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने इसी केस में अगस्त 2024 में रांची से डॉ. इश्तियाक को पकड़ा था।


