वॉशिंगटन.
अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारतीय मूल के कश्यप उर्फ कश पटेल को संघीय जांच एजेंसी एफबीआई के नए निदेशक के रूप में नामित किया है। कश पटेल को डोनाल्ड ट्रंप का काफी करीबी माना जाता है और ट्रंप की जीत के बाद ही इस बात की चर्चा थी कि ट्रंप, कश पटेल को अहम जिम्मेदारी दे सकते हैं। कश पटेल अमेरिकी सरकार के भीतर डीप स्टेट को खत्म करने के मुखर समर्थक रहे हैं।
डोनाल्ड ट्रंप ने सोशल मीडिया पर साझा एक पोस्ट में लिखा कि 'कश एक शानदार वकील, जांचकर्ता और अमेरिका फर्स्ट योद्धा हैं, जिन्होंने अपना करियर भ्रष्टाचार को उजागर करने, न्याय की रक्षा करने और अमेरिकी लोगों की रक्षा करने में बिताया है।' डोनाल्ड ट्रंप के पहले कार्यकाल के दौरान कश पटेल ने 'रूस होक्स' मामले को उजागर करने में अहम भूमिका निभाई थी। डोनाल्ड ट्रंप एफबीआई के मौजूदा निदेशक क्रिस्टोफर रे के कामकाज से खुश नहीं हैं। ट्रंप ने ही रे को साल 2017 में एफबीआई का निदेशक नियुक्त किया था, लेकिन गोपनीय दस्तावेजों से जुड़ी जांच में रे ने जिस तरह से ट्रंप के खिलाफ कार्रवाई की, उससे ट्रंप खासे नाराज हैं।
एफबीआई की मौजूदा व्यवस्था के माने जाते हैं कड़े आलोचक
कश पटेल जिस एफबीआई के निदेशक नामित किए गए है, उसी एफबीआई के वे मुखर आलोचक हैं। एक टीवी शो के दौरान कश पटेल (44 वर्षीय) ने एफबीआई में आमूलचूल परिवर्तन करने की बात कही है। जिसमें एफबीआई के खुफिया जानकारी जुटाने से रोकने और एफबीआई मुख्यालय का फिर से निर्माण कश पटेल की प्राथमिकता में है। कश पटेल का कहना है कि जैसे ही वह अपना पद संभालेंगे तो अगले दिन से ही वह एफबीआई मुख्यालय में काम करने वाले सात हजार कर्मचारियों को फील्ड में भेज देंगे क्योंकि उनका काम अपराधियों को पकड़ना है। कश पटेल ने ये भी कहा है कि वह एफबीआई का मुख्यालय वॉशिंगटन डीसी से बाहर बनाएंगे ताकि एफबीआई को राजनीतिक प्रभाव से दूर रखा जा सके। कश पटेल अटॉर्नी जनरल पाम बॉन्डी के अधीन काम करेंगे।
कौन हैं कश पटेल
कश पटेल का जन्म न्यूयॉर्क के क्वींस इलाके में हुआ था, उनके माता-पिता गुजराती मूल के थे, जो पूर्वी अफ्रीका से अमेरिका में जाकर बसे थे। कश पटेल ने कानून की डिग्री हासिल की है और वे फ्लोरिडा राज्य के सार्वजनिक अभियोजक के रूप में काम कर चुके हैं। कश पटेल बाद में न्याय विभाग से जुड़ गए और वहां एक अभियोजक के रूप में काम किया। न्याय विभाग में कश पटेल हाई-प्रोफाइल अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद के मामले देखते थे। कश पटेल के करियर ने यूटर्न उस वक्त लिया, जब वे रक्षा विभाग में बतौर वकील शामिल हुए। यहां से वे अमेरिकी कांग्रेस के सदस्य डेविन नून्स के संपर्क में आए, जो उस समय संसद की खुफिया समिति के अध्यक्ष थे। नून्स ने ही कश पटेल को आतंकवाद विरोधी मामलों में बतौर वरिष्ठ वकील नियुक्त किया। ट्रंप सरकार के पहले कार्यकाल के दौरान रूस मामले में एफबीआई जांच की जांच करने वाली रिपब्लिकन पार्टी की जांच का कश पटेल भी हिस्सा थे। राष्ट्रपति चुनाव के दौरान रिपब्लिकन पार्टी का घोषणा पत्र तैयार करने में भी कश पटेल की अहम भूमिका थी।
बेटी इवांका के ससुर को डोनाल्ड ट्रंप ने दी अहम जिम्मेदारी
डोनाल्ड ट्रंप ने अपनी बेटी इवांका ट्रंप के ससुर चार्ल्स कुशनर को अहम जिम्मेदारी देते हुए उन्हें फ्रांस में अमेरिका का नया राजदूत नियुक्त किया है। ट्रंप ने शनिवार को इसका एलान किया और चार्ल्स कुशनर को एक अच्छा समाजसेवी, व्यापार नेता बताया। गौरतलब है कि चार्ल्स कुशनर को साल 2005 में टैक्स गड़बड़ी के 16 मामलों में दोषी पाया गया था और एक मामले में उन्हें दो साल जेल की सजा भी हुई थी। हालांकि साल 2020 में ट्रंप ने चार्ल्स कुशनर की सजा माफ कर दी थी।