कूनो में बारिश बनी चीतों के लिए चुनौती, दलदल में फंसने का खतरा बढ़ा

 ग्वालियर  कूनो नेशनल पार्क में लगातार हो रही भारी वर्षा ने एक बार फिर चीतों की सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ा दी है। सबसे बड़ी चिंता की बात यह है कि मादा चीता 'आशा' और उसके तीन शावक रविवार को पार्क की सीमा पार कर बागचा क्षेत्र की ओर निकल गए। इस समय जंगल में चारों ओर जलभराव और दलदल जैसी स्थिति है, जिससे ट्रैकिंग में भारी बाधा आ रही है। जंगल के बाहर पहुंचना जोखिम भरा पार्क की सीमा पार कर चुके चीतों के सामने नहर में डूबने और…

Read More

कुनबे संग मादा चीता ने लांघी कूनों की सरहद, चम्बल के बीहड़ में किया प्रवेश

मुरैना  कूनो नेशनल पार्क की बाउंड्री लांघकर चम्बल के बीहड़ में घुसी मादा चीता माधवी ने ताबड़तोड़ शिकार किए हैं. मुरैना क्षेत्र में एकसाथ 5 बकरियों को अपना निवाला बनाने के बाद चीता माधवी अपने कुनबे के साथ कूनो वापस लौट गई है. चीता माधवी के कुनबे ने यहां कई दिनों तक आतंक मचाया. चीतों के कूनो पार्क में वापस लौटने से ग्रामीण भयमुक्त हो गए है. वहीं, फॉरेस्ट विभाग द्वारा पीड़ित किसानों को बकरियों का मुआवजा देने की कार्रवाई की जा रही है. कुनबे संग मादा चीता ने लांघी…

Read More

भारत लाए जाएंगे बोत्सवाना से आठ चीते, पहले चार मई में आएंगे, चीता परियोजना पर 112 करोड़ खर्च

भोपाल दक्षिण अफ्रीका के बोत्सवाना से आठ चीतों को दो चरणों में मध्य प्रदेश में लाया जाएगा। मई 2025 तक बोत्सवाना से चार चीतों को भारत लाने की योजना है। इसके बाद चार और चीतों को लाया जाएगा। प्रोजेक्ट चीता के तहत चीतों को अब गांधी सागर अभयारण्य में भी चरणबद्ध तरीके से स्थानांतरित किया जाएगा।   जानकारी के अनुसार, शुक्रवार को भोपाल में केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव की उपस्थिति में चीता परियोजना की समीक्षा बैठक हुई। एनटीसीए…

Read More

कूनो में जन्मे दो शावक नर चीते जाएंगे गांधी सागर अभयारण्य, शिफ्टिंग की तारीख तय, नया घर तैयार

भोपाल  मध्य प्रदेश में चीतों का दूसरा घर यानी गांधी सागर अभयारण्य जल्द ही चीतों से आबाद होने जा रहा है। यहां चीतों को बसाने की तारीख तय हो गई है। ऐसे में माना जा रहा है कि 20 अप्रैल को गांधी सागर अभ्यारण्य में 2 चीतों को कूनो से यहां शिफ्ट किया जाएगा।  कूनो नेशनल पार्क के बाद अब गांधी सागर अभयारण्य चीतों का दूसरा रहवास स्थल हो जाएगा। बताया जा रहा है कि चीतों की शिफ्टिंग के लिए चीता स्टीयरिंग कमेटी ने अपनी हरी झंडी दे दी है।…

Read More

चीतों को पानी पिलाने वाले ड्राइवर सत्यनारायण गुर्जर को फिर से नौकरी मिली

श्योपुर कूनो नेशनल पार्क में चीतों को पानी पिलाने वाले ड्राइवर सत्यनारायण गुर्जर को फिर से काम पर रख लिया गया है। वीडियो वायरल होने के बाद उन्हें हटा दिया गया था। वीडियो में वह चीतों के नजदीक जाकर पानी पिला रहे थे। सोशल मीडिया पर लोगों और गुर्जर समाज ने उनका समर्थन किया। इसके बाद पार्क प्रबंधन ने उन्हें वापस बुला लिया। समाज ने फूल और मिठाई से उनका सम्मान भी किया। वायरल वीडियो की विभागीय जांच अभी जारी है। नौकरी से निकालने के बाद वापस रखा कूनो नेशनल…

Read More

चीता गामिनी और उसके 4 शावकों को कूनो नेशनल पार्क के खुले जंगल में छोड़ा गया.

 श्योपुर भारत की महत्वाकांक्षी चीता संरक्षण परियोजना के तहत सोमवार को मध्य प्रदेश के कूनो नेशनल पार्क (KNP) में एक और बड़ा कदम उठाया गया. दक्षिण अफ्रीकी मादा चीता गामिनी और उसके 4 शावकों को पार्क के खजूरी वन क्षेत्र में खुले जंगल में सफलतापूर्वक छोड़ दिया गया. सिंह परियोजना के डायरेक्टर ने बताया कि मां और चारों शावक पूरी तरह स्वस्थ हैं. खजूरी वन क्षेत्र अहेरा पर्यटन जोन का हिस्सा है, जिसके कारण अब पर्यटकों को सफारी के दौरान चीतों को देखने का मौका मिल सकता है. 17 चीते…

Read More

कूनो में आज छोड़े जाएंगे 5 और चीते, पर्यटक कर सकेंगे दीदार

श्योपुर  कूनो नेशनल पार्क अब चीतों को सूट करने लगा है. यहां 26 चीतों का कुनबा अब प्रकृति से तालमेल बिठाने में कामयाब हो रहा है. यही वजह है कि अब सरकार भी इन्हें एक के बाद एक बाड़े से खुले जंगलों में छोड़ती जा रही है. कूनो प्रबंधन ने अब तक 12 चीतों को बाड़े से खुले जंगल में आजाद किया था, वहीं एक बार फिर एक मादा चीता और उसके चार शावकों को यहां छोड़ा जा रहा है. खुले जंगल में होगा 17 चीतों का दीदार मध्यप्रदेश के…

Read More

कूनो में चीतों का दीदार, ज्वाला और 4 शावक बने पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र

श्योपुर मध्य प्रदेश के श्योपुर स्थित कूनो नेशनल पार्क में विदेशी और भारतीय चीते अब न केवल जंगल में दौड़ते नजर आ रहे हैं, बल्कि पर्यटकों को भी खुली आंखों से दिखाई दे रहे हैं. वर्तमान में कूनो के खुले जंगल में 12 चीते स्वतंत्र रूप से विचरण कर रहे हैं, जिससे पार्क में आने वाले पर्यटकों को इनका लगातार दीदार हो रहा है. चीतों की मौजूदगी से न सिर्फ पर्यटकों का रोमांच बढ़ रहा है, बल्कि उनकी संख्या में भी इजाफा देखा जा रहा है.   कूनो की रानी…

Read More

कूनो जंगल में आजाद किए जाएंगे दो चीते, चीता दिवस पर संचालन समिति लेगी फैसला

भोपाल अंतर्राष्ट्रीय चीता दिवस, 4 दिसंबर को, कूनो नेशनल पार्क में चीते अग्नि और वायु को खुले जंगल में छोड़ा जाएगा। यदि सब ठीक रहा, तो बाकी चीतों को भी चरणबद्ध तरीके से उनके बाड़ों से आजाद किया जाएगा। यह चीता पुनर्स्थापना परियोजना का एक महत्वपूर्ण कदम है, जो लगभग 70 वर्षों के बाद भारत में चीतों की आबादी को पुनर्जीवित करने के लिए महत्वपूर्ण है। पर्यटकों को इन राजसी जानवरों को उनके प्राकृतिक आवास में देखने का अनोखा अवसर मिलेगा। आधे से अधिक हैं शावक कूनो में 24 चीते,…

Read More

गांधीसागर अभयारण्य में चीतों को बसाने से पहले शिकार का इंतजाम, छोड़े गए 400 से ज्यादा चीतल

मंदसौर मध्य प्रदेश के गांधीसागर अभयारण्य में चीतों को बसाने से पहले शिकार का इंतजाम कर दिया गया है. फॉरेस्ट सेंचुरी में 28 चीतल छोड़े गए हैं. श्योपुर जिले के कूनो नेशनल पार्क के बाद गांधीसागर अभयारण्य चीतों का अब दूसरा घर बन जाएगा. वन विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि चीतों के शिकार की संख्या बढ़ाने के प्रयासों के तहत 1250 चित्तीदार हिरण (चीतल) गांधीसागर अभयारण्य में छोड़ा जाएगा. फिलहाल कान्हा नेशनल पार्क से 18 नर और 10 मादा चीतल लाए गए और उन्हें गांधीसागर के बाड़े वाले…

Read More