जब पूरा देश ऑस्ट्रेलिया शिफ्ट हो जाए तो प्रधानमंत्री क्या करेंगे? जानिए पीछे की कहानी

पर्थ
अभी तक आपने किसी व्यक्ति के दूसरे देश में शिफ्ट होने के बारे में सुना होगा। लेकिन क्या कभी ऐसा सुना है कि पूरा एक देश ही दूसरे देश में शिफ्ट हो गया। ऐसा हो रहा है तुवालू में। तुवालू पैसिफिक ओशियन का एक छोटा सा देश है जो कि आइलैंड पर बसा है। यहां पर समुद्र का स्तर लगातार बढ़ता जा रहा है। इसके चलते पूरे देश को ऑस्ट्रेलिया में माइग्रेट किया जा रहा है। पूरी दुनिया में यह अपनी तरफ का पहला मामला है। तुवालू को लेकर बहुत सारी स्टडी हो चुकी हैं। इनमें सामने आया है कि अगले 25 साल में तुवालू पूरी तरह से पानी में डूब सकता है। हालांकि अभी यह स्पष्ट नहीं है कि तुवालू के प्रधानमंत्री नए देश में क्या भूमिका निभाएंगे।

ये भी पढ़ें :  पीएम मोदी ने 5 वंदे भारत ट्रेनों को हरी झंडी दिखाकर किया रवाना, जानिए हर ट्रेन का रूट

इतनी है इस देश की आबादी
तुवालू देश कुल मिलाकर नौ समुद्री द्वीपों से मिलकर बना है। इसकी आबादी 11 हजार के करीब है। समुद्र की सतह से अब इसकी ऊंचाई मात्र दो मीटर ही रह गई है। यानी समुद्र का जलस्तर अगर दो मीटर और ऊपर गया तो फिर यह पानी में समाना शुरू हो जाएगा। यहां पर बाढ़ और तूफान का खतरा हमेशा बना रहता है। रिपोर्ट्स में यह भी दावा किया गया है कि तुवालू के नौ में से दो द्वीप करीब-करीब पानी में समा चुके हैं। नासा के मुताबिक पिछले 30 साल में यहां पर समुद्र का पानी लगातार बढ़ता जा रहा है। अगर पानी इसी तरह से बढ़ता रहा तो साल 2050 तक यह द्वीपीय देश पूरी तरह से डूब जाएगा।

ये भी पढ़ें :  फिलीपींस में 'को-मे' तूफान की तबाही: 25 की मौत, लाखों विस्थापित

नागरिकों को मिलेंगे सभी अधिकार
साल 2023 में तुवालू और ऑस्ट्रेलिया के बीच एक समझौता हुआ था। इस समझौते के तहत हर साल 280 तुवालू नागरिकों को ऑस्ट्रेलिया में बसने की इजाजत मिली थी। इन नागरिकों को स्वास्थ्य, शिक्षा, घर और नौकरी के सभी अधिकार मिलेंगे। नागरिकों के पहले बैच को 16 से 18 जुलाई के बीच ऑस्ट्रेलिया ले जाया गया। ऑस्ट्रेलिया के विदेश मंत्री पेनी वांग ने कहा कि इन नागरिकों को पूरे सम्मान के साथ जीवन जीने का अधिकार मिलेगा। वहीं, तवालू के प्रधानमंत्री फेलेती तियो ने दुनिया भर से इस मामले पर ध्यान देने की मांग की है।

Share

क्लिक करके इन्हें भी पढ़ें

Leave a Comment