देश को खाद्य तेल में आत्मनिर्भरता के लिए छह साल का मिशन, बजट में निर्मला सीतारमण ने किया ऐलान

नई दिल्ली

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने देश को दलहन और खाद्य तेल में आत्मनिर्भर बनाने का ऐलान किया है। इसके लिए तुअर, उड़द, मसूर पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। वित्त मंत्री ने कहा कि धन धान्य कृषि योजना 100 कम उत्पादकता वाले जिलों पर ध्यान केंद्रित करेगी। साथ ही कृषि कार्यक्रम 1.7 करोड़ किसानों की मदद करेगा। उन्होंने कहा कि कृषि योजना कम उत्पादकता वाले 100 जिलों को कवर करेगी, जहां फसल की पैदावार कम होती है और जहां क्रेडिट पैरामीटर औसत से नीचे हैं। योजना के तहत किसानों को आधुनिक फसल टेक्नोलॉजी मुहैया करवाई जाएगी। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का यह 8वां बजट है और मोदी सरकार 3.0 का पहला पूर्ण बजट भी है। संसद में बजट सत्र जारी है।केंद्र सरकार खाद्य तेल में आत्मनिर्भरता के लिए छह साल का एक मिशन शुरू करेगी. निर्मला सीतारमण ने बजट में इसका ऐलान किया है. इस बार बजट में 'बढ़ते मध्यम वर्ग' की खर्च करने की शक्ति को बढ़ाने पर फोकस किया गया है.

ये हैं बजट के बड़े ऐलान

    खाद्य तेल और बीज के लिए राष्ट्रीय मिशन का लक्ष्य इस क्षेत्र में आत्मनिर्भरता लाना है
    दालों में आत्मनिर्भर बनने के लिए 6 साल का मिशन शुरू किया जाएगा

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    केंद्रीय एजेंसियां अगले 4 सालों में तुअर, उड़द, मसूर की खरीद करेंगी

    प्रसंस्करण, मूल्य संवर्धन में सुधार के लिए बिहार में मखाना बोर्ड बनाया जाएगा

कृषि जिलों के विकास का कार्यक्रम

    कृषि जिलों के विकास का कार्यक्रम शुरू किया जाएगा। फसल विविधीकरण, सिंचाई सुविधाएं, 1.7 करोड़ किसानों की मदद के लिए ऋण की उपलब्धता

    योजना में फसल विविधीकरण को अपनाया जाएगा, कटाई के बाद भंडारण को बढ़ाया जाएगा। इससे 1.7 करोड़ किसानों को मदद मिलेगी

    एमएसएमई विकास का दूसरा इंजन है

    एमएसएमई हमारे निर्यात का 45% हिस्सा है। एमएसएमई की वर्गीकरण सीमा बढ़ाई गई है ताकि उनकी वृद्धि को बढ़ावा मिले

    सूक्ष्म उद्यमों के लिए, कस्टमाइज्ड क्रेडिट कार्ड जारी किए जाएंगे

 

छह प्रमुख क्षेत्रों में सुधारों को प्राथमिकता

वित्त मंत्री ने कहा कि बजट 2025 टैक्स, पावर, अर्बन डेवलेपमेंट, माइनिंग, फाइनेंशियल सेक्टर और रेगुलेटरी पॉलिसी जैसे छह प्रमुख क्षेत्रों में सुधारों को प्राथमिकता देता है. निर्मला सीतारमण ने सुबह 11 बजे अपना बजट भाषण शुरू किया. पिछले चार बजट और एक अंतरिम बजट की तरह, ये बजट भी पेपरलेस होगा.

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बजट की प्रमुख बातें

– भारतीय खिलौनों के लिए सपोर्ट स्कीम

– किसान क्रेडिट की लिमिट पांच लाख रुपये. सस्ते ब्याज पर किसानों को पांच लाख का कर्ज. कपास किसानों को पांच साल का पैकेज.

– असम में यूरिया प्लांट का गठन होगा. 12.7 लाख मीट्रिन टन की सालाना क्षमता वाला यूरिया प्लांट खुलेगा.

– कृषि योजनाओं से 1.7 करोड़ किसानों को लाभ.

– कॉटन प्रोडक्टिविटी के लिए पांच साल का मिशन

– बिहार के किसानों के लिए खास ऐलान. दलहन-तिलहन में आत्मनिर्भरता का टारगेट.

– मखाना किसानों के लिए बजट में ऐलान.  मखाना बोर्ड बनेगा.

– वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि पीएम धन-धान्य कृषि योजना चलाएंगे. 10 जिलों में योजना चलाई जाएगी. कम उपज वाले इलाकों में शुरू होगी योजना.

– खाद्य तेल में आत्मनिर्भरता के लिए छह साल के मिशन का ऐलान.

– फल सब्जियों के लिए व्यापक प्रोग्राम का ऐलान.

किसान क्रेडिट कार्ड की लिमिट 3 लाख से बढ़कर 5 लाख रुपये हुई

बजट 2025 में मोदी सरकार ने देश के करोड़ों किसानों को बड़ी राहत दी है. सरकार ने किसान क्रेडिट कार्ड की लिमिट बढा दी है. अब यह सीमा 3 लाख रुपये से बढ़ाकर 5 लाख रुपये कर दी गई है. बजट में सरकार ने किसानों को लेकर कई और बड़ी घोषणाएं भी की है. इनमें धन धान्य कृषि योजना,  कृषि कार्यक्रम से 1.7 करोड़ किसानों की मदद, कम उत्पादकता वाले 100 जिलों को कवर करने के लिए कृषि योजना शामिल है.

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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि खाद्य तेल और बीज के लिए राष्ट्रीय मिशन का लक्ष्य इस क्षेत्र में आत्मनिर्भरता लाना है. इसके तहत दालों में आत्मनिर्भर बनने के लिए 6 साल का मिशन शुरू करेंगे. – केंद्रीय एजेंसियां ​​अगले 4 वर्षों में तुअर, उड़द, मसूर की खरीद करेंगी. प्रसंस्करण, मूल्य संवर्धन में सुधार के लिए बिहार में मखाना बोर्ड बनाया जाएगा.
बजट में सरकार ने बताया कि आकांक्षी जिला कार्यक्रम की तर्ज पर कृषि जिला कार्यक्रम विकसित किए जाएंगे. फसल विविधीकरण, सिंचाई सुविधाएं, लोन की उपलब्धता से 1.7 करोड़ किसानों को मदद मिलेगी. यह योजना फसल विविधीकरण को अपनाएगी, फसल कटाई के बाद भंडारण को बढ़ाएगी. इससे 1.7 करोड़ किसानों को मदद मिलेगी.

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